tag:blogger.com,1999:blog-3870714.post3353228825557627199..comments2024-03-27T03:46:15.530-04:00Comments on हिन्दी: "बॉलीवुड"v9yhttp://www.blogger.com/profile/07973018577021600722noreply@blogger.comBlogger5125tag:blogger.com,1999:blog-3870714.post-7738735106018448222007-08-04T01:30:00.000-04:002007-08-04T01:30:00.000-04:00आपका blog अच्छा हैमे भी ऐसा blog शुरू करना चाहता ह...आपका blog अच्छा है<BR/>मे भी ऐसा blog शुरू करना चाहता हू<BR/>आप कोंसी software उपयोग किया<BR/>मुजको www.quillpad.in/hindi अच्छा लगा<BR/>आप english मे करेगा तो hindi मे लिपि आएगीAnonymousnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3870714.post-91258141458409215942007-07-13T23:31:00.000-04:002007-07-13T23:31:00.000-04:00ठाकुर को टैगोर कब से कहा जा रहा है.. लोग तो अब भूल...ठाकुर को टैगोर कब से कहा जा रहा है.. लोग तो अब भूलने भी लगे हैं कि टैगोर कुछ नहीं ठाकुर का ही गलत उच्चारण है.. लेकिन क्या करेंगे आप उस देश में हैं जहाँ के वकील जून की गर्मी में काला कोट पहन के घूमते हैं और जज सफ़ेद विग पहन के खुद को लॉर्ड कहलवाता है.. प्रमोद जी के शब्द में कहूँ तो..हद है..अभय तिवारीhttps://www.blogger.com/profile/05954884020242766837noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3870714.post-89842015904462640582007-07-13T22:25:00.000-04:002007-07-13T22:25:00.000-04:00हम भी इस बात से सहमत हैं । पिछले दिनों नवभारत टाईम...हम भी इस बात से सहमत हैं । पिछले दिनों नवभारत टाईम्स में शायद नसीर के हवाले से इसी आशय का एक संपादकीय छपा था । जिसमें लिखा गया था कि आखिर किस मानसिकता के तहत हम कालिदास को पूरब का शेक्सपियर कहते हैं । ऐसा क्यों है कि शेक्सपियर को पश्चिम का कालिदास नहीं कहा जाता । हॉलीवुड की तर्ज़ पर बॉलीवुड नाम देना नितांत ग़लत है और इसका तो विरोध होना ही चाहिये । आज भारत संसार में सबसे ज्यादा फिल्में बना रहा है, ये अलग बात है कि उनमें ज्यादातर ऊल जलूल होती हैं, ठीक ठिकाने की फिल्में या फिल्मकार हमारे पास ज्यादा नहीं, पर इतने बड़े फिल्म उद्योग को हॉलीवुड की तर्ज पर बॉलीवुड कहे जाने की कोई मजबूरी नहीं है । आपने इस मुद्दे को उठाकर अच्छा किया ।Yunus Khanhttps://www.blogger.com/profile/12193351231431541587noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3870714.post-19795225734502296702007-07-13T15:13:00.000-04:002007-07-13T15:13:00.000-04:00आपने अच्...आपने अच्छा लिखा है लेकिन एक बात का उल्लेख नहीं है वो है कि कैसे बोलिवुड का ये नाम पड़ा .दरअसल इसके पीछे एक चलन है ,जिस जगह पर सम्बंधित फिल्म उद्योग होता है उस स्थान के पहले अक्षर को लेकर 'लीवुड ' शब्द जोड़ दिया जता है.जैसे उदाहरण के तौर पर बोम्बे का B लेकर बॉलीवुड,पाकिस्तान के लाहौर का लॉलीवुड ,कर्नाटक का कॉलीवुड.यही नहीं इंडोनेशिया जैसे अन्य देशों में भी कुछ ऐसा ही चलन है.बेशक यह बेहूदा तो है ही .यह सम्बंधित फिल्म उद्योगों की मौलिकता का मजाक ही तो है .हालांकि कि मौलिकता कितनी है इस पर भी विचार होना चाहिऐArvind Adityahttps://www.blogger.com/profile/07824049556974197332noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3870714.post-8703889712202380302007-07-13T12:53:00.000-04:002007-07-13T12:53:00.000-04:00While I agree that both 'logic' and 'shame' is bec...While I agree that both 'logic' and 'shame' is becoming extinct in media, I wonder as to how 'Indian' is Indian Corporate Media?<BR/><BR/>Gopal Krishna<BR/><BR/>mediavigil.blogspot.commediavigilhttps://www.blogger.com/profile/17801809794795753601noreply@blogger.com