जैसे चींटियाँ लौटती हैं बिलों में / कठफोड़वा लौटता है काठ के पास /
ओ मेरी भाषा! मैं लौटता हूँ तुम में
जब चुप रहते-रहते अकड़ जाती है मेरी जीभ / दुखने लगती है मेरी आत्मा
-केदारनाथ सिंह
Friday, April 20, 2007
चलो न्यू यॉर्क!
आठवाँ विश्व हिंदी सम्मेलन इस साल 13(शुक्र) से 15(रवि) जुलाई के बीच न्यू यॉर्क, अमेरिका में आयोजित है. ज़्यादा जानकारी के लिए सम्मेलन की वेबसाइट देखें, जिसे ब्लॉगर बालेंदु दाधीच और उनके दल ने बनाया है. और अगर आप आस-पास रहते हैं तो.. चलिए चलते हैं.
चलो, चलते हैं.
ReplyDeleteतो मुलाकात पक्की रही ...
ReplyDeleteदेख लो कुछ छूटा तो नहीं.. ये रखो पोटली और वक्त पर खाना पीना करना.. हिन्दी वर्कशॉप के बहाने पीना-खाना नहीं. रोज़ चिट्ठी लिखना.
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